लालू के जेल जाने का सदमा नहीं सह पाईं उनकी बहन, दुनिया छोड़ दी

नई दिल्ली : आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव को बहुचर्चित चारा घोटाला मामले में रांची की विशेष सीबीआई अदालत से शनिवार को साढ़े तीन साल की सजा के ऐलान के बाद रविवार को उनकी बड़ी बहन गंगोत्री देवी का निधन हो गया.

सूत्रों के मुताबिक वह लालू के दोषी करार दिए जाने के बाद से सदमे में चल रही थी. इससे पहले शनिवार को वो लालू को सजा सुनाए जाने से पहले उनकी रिहाई के लिए दुआएं मांग रही थी. हालांकि उनकी मौत की वजहों की अभी तक पुष्टि नहीं की गई है.

उनके निधन के बाद लालू यादव की पत्नी राबड़ी देवी और उनके दोनों बेटे (तेजस्वी और तेजप्रताप यादव) शोकाकुल परिवार के घर पहुंचे हुए हैं. बताया जाता है कि स्वर्गीय गंगोत्री देवी का लालू से खासा लगाव था. जिसकी वजह से वो लालू को चारा घोटाला मामले में दोषी करार दिए जाने के बाद से काफी चिंतित चल रही थीं.

गौरतलब है कि रांची स्थित सीबीआई की विशेष अदालत ने शनिवार को चारा घोटाले में 21 साल पहले देवघर ट्रेजरी से 89.27 लाख रुपये की अवैध निकासी के मामले में शनिवार को साढ़े तीन साल की सजा सुनाई गई. साथ ही उन पर दस लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया. यहां बिरसा मुंडा जेल में बंद लालू को सजा का ऐलान वीडियो कांफ्रेंस के जरिए किया गया. चार साल में यह दूसरी बार है जब उन्हें चारा घोटाले में सजा हुई.

इससे पहले सीबीआई अदालत ने उन्हें आईपीसी के तहत धोखाधड़ी एवं आपराधिक साजिश और भ्रष्टाचार निवारण कानून के दो मामलों में 23 दिसंबर को दोषी ठहराया था. इन दोनों मामलों में उन्हें साढ़े तीन-तीन साल की सजा सुनाई गई. दोनों सजाएं साथ-साथ चलेंगी. मालूम हो कि 950 करोड़ रुपये के चारा घोटाले में चाईबासा ट्रेजरी से 37.5 करोड़ रुपये की अवैध निकासी में लालू को 30 सितंबर, 2013 को पांच साल की सजा सुनाई गई थी. लगभग ढाई महीने जेल में रहने के बाद उन्हें सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिली थी.

अभी चार केस लंबित-
लालू पर झारखंड में दुमका ट्रेजरी से 3.97 करोड़, चाईबासा ट्रेजरी से 36 करोड़, डोरंडा ट्रेजरी से 184 करोड़ रुपये और बिहार में भागलपुर ट्रेजरी से 45 लाख रुपये की अवैध निकासी के मामले लंबित हैं.