RSS के कारण टला कैबिनेट विस्तार, जेटली के लिए बुरी खबर

नई दिल्ली : बीजेपी पर मोदी के अधिपत्य को नागपुर से तकड़ी चुनौती मिली है. सूत्रों के अनुसार संघ ने मंत्री मंडल में फेरबदल को रोक दिया है यही कारण है कि अब फेरबदल दो दिन देरी से हो रहा है. सरकार के कामकाज से आरएसएस नाराज़ है और सबसे ज्यादा नाराज़गी आर्थिक फ्रंट पर है. सूत्रों के मुताबिक संघ का मानना है कि मोदी सरकार रोज़गारों के अवसर बढ़ाने में नाकाम ही नहीं हुई बल्कि उसने रोजगार कम कर दिए. संघ ने कई मंत्रियों के निष्क्रिय होने और कई के बेहद ढीले कामकाज पर भी नाराज़गी दिखाई है.

इसके साथ ही संघ ने यह भी साफ किया है कि वह कई अहम मंत्रालयों के कामकाज से भी खुश नहीं है. गौरतलब है कि वृंदावन में चल रहे संघ की इस मीटिंग में बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह भी शामिल हुए थे और आज ही दिल्ली लौटे हैं. जहां वे कैबिनेट विस्तार पर प्रधानमंत्री के साथ शाम को बैठक करेंगे. जिन मंत्रियों पर संघ की टेढ़ी नजर है उनमें अरुण जेटली भी है. जेटली के नेतृत्व में ही आर्थिक बदलाव किए गए जिनसे पार्टी को नुकसान हो रहाहै. ये भी हो सकता है कि उमा भारती को मंत्रिमंडल से अलग न किया जाए.

संघ का परंपरागत स्टैंड पूंजीवादी अर्थ व्यवस्था के खिलाफ रहा है. संघ हमेशा मिक्स्ड इकॉनोमी का समर्थक रहा है जेटली और मोदी की आर्थिक नीतियां पूरी तरह अमेरिका परस्त होने के कारण ये संघ के परंपरागत विचार के खिलाफ हैं. अब नतीजे खराब आने के कारण संघ जेटली के पर कतर सकता है जिससे संदेश जाएगा कि बीजेपी और मोदी आर्थिक सुधार में गड़बड़ी के लिए ज़िम्मेदार नहीं है.

जानकारों का कहना है कि आरएसएस अब मंत्रिमंडल में फेरबदल से पहले चर्चा करना चाहती है. अमित शाह संघ प्रमुख से मिले हैं उन्होंने शाह को मंत्रिमंडल के बारे में अपनी राय दी है.मंत्रिमंडल का विस्तार होगा.

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की वृंदावन में चल रही बैठक में भी केंद्र की मोदी सरकार की नीतियों पर गहन चर्चा हुई है. सूत्रों के मुताबिक शनिवार को बैठक में केंद्र की आर्थिक नीतियों पर चर्चा हुई और संघ ने साफ कर दिया है कि वो अर्थव्यवस्था के मोर्च पर मोदी सरकार से खुश नहीं है. सूत्रों के मुताबिक संघ को लगता है कि सरकार रोजगार पैदा करने में नाकाम रही है.

हालांकि मोदी सरकार को कश्मीर और चीन के साथ डिप्लोमेटिक स्तर पर मिली जीत पर संघ ने शाबाशी दी है. इन दोनों मुद्दों पर शुक्रवार को चर्चा हुई थी.