दिल्ली , यूपी, हरियाणा और अन्य उत्तर भारतीय राज्यों में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में दो रुपये तक की कमी आ सकती है. केजरीवाल सरकार ने पेट्रोल-डीजल पर वैट दरों में कटौती करने का मन बना लिया है और इसका ऐलान मंगलवार को हो सकता है. आधिकारिक सूत्रों की मानें तो यह कटौती 3-4% तक हो सकती है, जिससे दोनों ही कमोडिटीज के दाम डेढ़ से दो रुपये प्रति लीटर तक कम हो जाएंगे.
नवभारत टाइम्स ने वित्त विभाग के एक अधिकारी के हवाले से खबर दी है कि, ‘इस बारे में लगभग सहमति बन चुकी है और सब कुछ उसके मुताबिक हुआ तो मंगलवार को वैट कटौती का ऐलान हो सकता है.’ उन्होंने कहा कि चूंकि वैट दरों को लेकर पड़ोसी यूपी और हरियाणा सहित कई उत्तरी राज्यों में तीन साल पहले सहमति बनी थी कि रेट एक समान रखना है. यही वजह है कि दाम कम करने से पहले इन राज्यों से सलाह मशविरा करना होगा . इसी में देरी लग रही है. इसी मसले को लेकर मंगलवार को चंडीगढ़ में दिल्ली, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल और यूपी के वित्त मंत्रियों की बैठक है. इसी बैठक में किसी एलान की उम्मीद की जा रही है.
उसी दिन कोई ऐलान होगा.
यह पूछे जाने पर कि दिल्ली वालों को कीमतों में कितनी राहत मिलेगी अधिकारी ने कहा, ‘अंतिम फैसला वित्त मंत्रियों की बैठक में ही होगा, लेकिन अब तक की चर्चा में रेट 4 पर्सेंट तक घटाने पर विचार हुआ है. हालांकि पेट्रोल पर रेट को लेकर थोड़ा मतभेद है, लेकिन डीजल पर एक समान कटौती पर सहमति है.’
फिलहाल दिल्ली, यूपी, हरियाणा में पेट्रोल पर करीब 27% और डीजल पर 17% की दर से वैट लगता है. अगर दोनों पर रेट 3-4 पर्सेंट तक घटे तो कीमतें 2 रुपये तक कम हो जाएंगी. पंजाब में डीजल पर रेट तो इतना ही है, लेकिन पेट्रोल पर 35% है. गौरतलब है कि शराब और पेट्रोलियम को जीएसटी के दायरे से बाहर रखा गया है और इन दोनों पर पहले की तरह केंद्र सरकार एक्साइज ड्यूटी और राज्य सरकारें वैट वसूलती हैं.
तेल कंपनियां आज भी पेट्रोल लगभग 40 रुपये प्रति लीटर की दर से जारी करती हैं, लेकिन उस पर 20 रुपये की एक्साइज ड्यूटी और उसके ऊपर 27% (दिल्ली में) वैट के बाद कीमत 70 के पार चली जाती है. उसके बाद पंप डीलरों का कमीशन और कुछ दूसरे मामूली चार्ज जोड़कर कीमत लगभग दोगुनी हो जाती है. इसी तरह डीजल के दाम भी जुड़ते हैं.
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